रायगढ़ ! कलेक्टर
श्रीमती अलरमेलमंगई डी ने आज कलेक्टोरेट सभाकक्ष में शाला त्यागी, किशोरी
बालिकाओं को शिक्षा की मुख्य धारा से जोडऩे के प्रयासों के इस संबंध में
जिले के सभी विकास खण्ड शिक्षा अधिकारी, बीआरसी, प्राचार्यो एवं महिला बाल
विकास विभाग के सेक्टर परियोजना अधिकारी की संयुक्त बैठक ली।
समीक्षा के दौरान उन्होंने विकास खण्डवार बीईओ और सीडीपीओ से शाला त्यागी किशोरी बालिकाओं को कौशल विकास योजना के तहत चिन्हांकित कर प्रशिक्षण के संबंध में जानकारी ली, लेकिन इस संबंध में अधिकतर अधिकारियों द्वारा संतोष जनक जवाब न देने के कारण कलेक्टर ने कड़ी हिदायत देते हुए व्यवस्था में सुधार लाने के सख्त निर्देश दिए।
उन्होंने संबंधित अधिकारी को निर्देशित करते हुए कहा कि शासन को भ्रमित करने वाली गलत जानकारी न भेजे। कलेक्टर ने समीक्षा के दौरान बरमकेला बीईओ और हायर सेकेण्डरी कन्या स्कूल के प्राचार्य से विभागीय गतिविधियों की विस्तार से जानकारी ली, लेकिन अधिकारियों द्वारा संतोष जनक जवाब न देने के कारण कलेक्टर ने गहरी नाराजगी व्यक्त करते हुए बरमकेला के बीईओ और बरमकेला कन्या हायर सेकेण्डरी स्कूल के प्राचार्य को शो-काज नोटिस जारी करने के लिए शिक्षा अधिकारी को निर्देशित किया। समीक्षा के दौरान गोबरसिंहा की व्याख्याता पंचायत मोनिका त्रिपाठी की शिकायत मिलने पर कलेक्टर ने उनके विरूद्ध अनुशासनात्मक कार्यवाही करने के निर्देश दिए। कलेक्टर ने सभी अधिकारियों को कहा कि कार्यस्थल पर जाकर अपने कार्यों की सार्थकता प्रदशित करें तभी कार्य में प्रगति दिखेगी। कलेक्टर ने महिला बाल विकास के सेक्टर परियोजना अधिकारियों को अपने कार्यशैली में सुधार लाने की कड़ी हिदायत दी। अन्यथा उनके विरूद्ध सख्त कार्यवाही की जाएगी, जिसके लिए वे स्वयं जिम्मेदार होंगे। कलेक्टर ने कहा शासन के द्वारा आपको प्रत्येक माह वेतन दिया जाता है, इसकी मूल्य को समझें और बच्चों के बेहतरी के लिए कार्य करें। कलेक्टर ने सीडीपीओ को घर में बैठकर आंकड़े भरने वाली जानकारी को बंद कर कार्यस्थल पर जाकर निरीक्षण कर जानकारी भरने के सख्त निर्देश दिए। उन्होंने बीईओ और सेक्टर परियोजना अधिकारी को कौशल विकास योजनान्तर्गत बालिकाओं को काऊंसिलिंग कर हुनरमंद बनाने के लिए जोर दिया। शाला त्यागी बालिकाओं की ओपन परीक्षा की फीस की राशि शासन द्वारा वहन की जाएगी- कलेक्टर ने सभी अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि ऐसी बालिकाएं जो निर्धारित उम्र से अधिक है उन बालिकाओं को कौशल विकास योजना से जोड़े एवं ओपन परीक्षा के माध्यम से फार्म भरवाकर शिक्षा की मुख्य धारा से जोडऩे के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि इन शाला त्यागी बालिकाओं की ओपन परीक्षा फीस की राशि शासन द्वारा वहन की जाएगी। कलेक्टर ने सभी बीईओ को चिन्हांकित बच्चों को ओपन परीक्षा का फार्म भराकर उनके लिए परीक्षा से पहले विशेष कोचिंग की व्यवस्था करने के भी निर्देश दिए।
प्राचार्य ने किया शिक्षिका नियुक्त
कलेक्टर श्रीमती अलरमेलमंगई डी आज शिक्षकों की समीक्षा बैठक ले रही थी। उन्हीं शिक्षकों के बीच में तमनार विकास खण्ड के हाईस्कूल बजरमुड़ा के प्राचार्य अमृत लाल बैठे हुए थे। जहां सभी शिक्षक कलेक्टर से शिक्षकों की कमी का रोना रो रहे थे। वहीं प्राचार्य अमृत लाल ने अपने स्कूल में बच्चों को बेहतर शिक्षा का वातावरण विकसित करने के लिए एक मिशाल पेश की है। वे अपने तनख्वाह से बजरमुड़ा स्कूल में बच्चों के लिए गणित, विज्ञान, अंग्रेजी की पढ़ाई के लिए शिक्षिका की व्यवस्था कराई है, ताकि बच्चे बेहतर शिक्षा प्राप्त कर अपने समाज का नाम रोशन कर सकें। अमृत लाल ने कलेक्टर को बताया कि एक सडक़ दुर्घटना में उनके सिर पर चोट आने के कारण उनको सुनने में भी दिक्कत होती थी। साथ ही शरीर भी अस्वस्थ रहने के बावजूद भी लेकिन वे प्रतिदिन स्कूल जाना नहीं छोड़ते है। उन्होंने बताया कि शारीरिक रूप से अस्वस्थ होने के कारण भी वे स्कूल इसलिए जाते है ताकि बच्चों के पढ़ाई में व्यवधान उत्पन्न न हो। कलेक्टर ने प्राचार्य श्री अमृत लाल को प्रोत्साहित करते हुए कहा कि जिले में ऐसे शिक्षक एक प्रेरणा स्त्रोत है, अन्य शिक्षकों को भी इनसे प्रेरणा लेकर अपने स्कूलों में शिक्षा का बेहतर वातावरण विकसित करना चाहिए। साथ ही कलेक्टर ने अमृत लाल को अपनी शुभकामनाएं देते हुए निरंतर आगे बढऩे के लिए पे्ररित किया। इस अवसर पर शिक्षा विभाग के जिला शिक्षा अधिकारी आर.एन.हीराधर, राजीव गांधी शिक्षा मिशन के जिला परियोजना समन्वयक आर.के.देवांगन, बीईओ, बीआरसी, प्राचार्य, महिला बाल विकास विभाग के सेक्टर सुपरवाईजर उपस्थित थे।
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समीक्षा के दौरान उन्होंने विकास खण्डवार बीईओ और सीडीपीओ से शाला त्यागी किशोरी बालिकाओं को कौशल विकास योजना के तहत चिन्हांकित कर प्रशिक्षण के संबंध में जानकारी ली, लेकिन इस संबंध में अधिकतर अधिकारियों द्वारा संतोष जनक जवाब न देने के कारण कलेक्टर ने कड़ी हिदायत देते हुए व्यवस्था में सुधार लाने के सख्त निर्देश दिए।
उन्होंने संबंधित अधिकारी को निर्देशित करते हुए कहा कि शासन को भ्रमित करने वाली गलत जानकारी न भेजे। कलेक्टर ने समीक्षा के दौरान बरमकेला बीईओ और हायर सेकेण्डरी कन्या स्कूल के प्राचार्य से विभागीय गतिविधियों की विस्तार से जानकारी ली, लेकिन अधिकारियों द्वारा संतोष जनक जवाब न देने के कारण कलेक्टर ने गहरी नाराजगी व्यक्त करते हुए बरमकेला के बीईओ और बरमकेला कन्या हायर सेकेण्डरी स्कूल के प्राचार्य को शो-काज नोटिस जारी करने के लिए शिक्षा अधिकारी को निर्देशित किया। समीक्षा के दौरान गोबरसिंहा की व्याख्याता पंचायत मोनिका त्रिपाठी की शिकायत मिलने पर कलेक्टर ने उनके विरूद्ध अनुशासनात्मक कार्यवाही करने के निर्देश दिए। कलेक्टर ने सभी अधिकारियों को कहा कि कार्यस्थल पर जाकर अपने कार्यों की सार्थकता प्रदशित करें तभी कार्य में प्रगति दिखेगी। कलेक्टर ने महिला बाल विकास के सेक्टर परियोजना अधिकारियों को अपने कार्यशैली में सुधार लाने की कड़ी हिदायत दी। अन्यथा उनके विरूद्ध सख्त कार्यवाही की जाएगी, जिसके लिए वे स्वयं जिम्मेदार होंगे। कलेक्टर ने कहा शासन के द्वारा आपको प्रत्येक माह वेतन दिया जाता है, इसकी मूल्य को समझें और बच्चों के बेहतरी के लिए कार्य करें। कलेक्टर ने सीडीपीओ को घर में बैठकर आंकड़े भरने वाली जानकारी को बंद कर कार्यस्थल पर जाकर निरीक्षण कर जानकारी भरने के सख्त निर्देश दिए। उन्होंने बीईओ और सेक्टर परियोजना अधिकारी को कौशल विकास योजनान्तर्गत बालिकाओं को काऊंसिलिंग कर हुनरमंद बनाने के लिए जोर दिया। शाला त्यागी बालिकाओं की ओपन परीक्षा की फीस की राशि शासन द्वारा वहन की जाएगी- कलेक्टर ने सभी अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि ऐसी बालिकाएं जो निर्धारित उम्र से अधिक है उन बालिकाओं को कौशल विकास योजना से जोड़े एवं ओपन परीक्षा के माध्यम से फार्म भरवाकर शिक्षा की मुख्य धारा से जोडऩे के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि इन शाला त्यागी बालिकाओं की ओपन परीक्षा फीस की राशि शासन द्वारा वहन की जाएगी। कलेक्टर ने सभी बीईओ को चिन्हांकित बच्चों को ओपन परीक्षा का फार्म भराकर उनके लिए परीक्षा से पहले विशेष कोचिंग की व्यवस्था करने के भी निर्देश दिए।
प्राचार्य ने किया शिक्षिका नियुक्त
कलेक्टर श्रीमती अलरमेलमंगई डी आज शिक्षकों की समीक्षा बैठक ले रही थी। उन्हीं शिक्षकों के बीच में तमनार विकास खण्ड के हाईस्कूल बजरमुड़ा के प्राचार्य अमृत लाल बैठे हुए थे। जहां सभी शिक्षक कलेक्टर से शिक्षकों की कमी का रोना रो रहे थे। वहीं प्राचार्य अमृत लाल ने अपने स्कूल में बच्चों को बेहतर शिक्षा का वातावरण विकसित करने के लिए एक मिशाल पेश की है। वे अपने तनख्वाह से बजरमुड़ा स्कूल में बच्चों के लिए गणित, विज्ञान, अंग्रेजी की पढ़ाई के लिए शिक्षिका की व्यवस्था कराई है, ताकि बच्चे बेहतर शिक्षा प्राप्त कर अपने समाज का नाम रोशन कर सकें। अमृत लाल ने कलेक्टर को बताया कि एक सडक़ दुर्घटना में उनके सिर पर चोट आने के कारण उनको सुनने में भी दिक्कत होती थी। साथ ही शरीर भी अस्वस्थ रहने के बावजूद भी लेकिन वे प्रतिदिन स्कूल जाना नहीं छोड़ते है। उन्होंने बताया कि शारीरिक रूप से अस्वस्थ होने के कारण भी वे स्कूल इसलिए जाते है ताकि बच्चों के पढ़ाई में व्यवधान उत्पन्न न हो। कलेक्टर ने प्राचार्य श्री अमृत लाल को प्रोत्साहित करते हुए कहा कि जिले में ऐसे शिक्षक एक प्रेरणा स्त्रोत है, अन्य शिक्षकों को भी इनसे प्रेरणा लेकर अपने स्कूलों में शिक्षा का बेहतर वातावरण विकसित करना चाहिए। साथ ही कलेक्टर ने अमृत लाल को अपनी शुभकामनाएं देते हुए निरंतर आगे बढऩे के लिए पे्ररित किया। इस अवसर पर शिक्षा विभाग के जिला शिक्षा अधिकारी आर.एन.हीराधर, राजीव गांधी शिक्षा मिशन के जिला परियोजना समन्वयक आर.के.देवांगन, बीईओ, बीआरसी, प्राचार्य, महिला बाल विकास विभाग के सेक्टर सुपरवाईजर उपस्थित थे।
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