कोंडागांव। निप्र जिले के विश्रामपुरी विकासखंड के कई शिक्षक इन
दिनों फर्जी तरीके से छुट्टी पर हैं। छुट्टी पर जाने के लिए शिक्षकों ने
पूरे साल का एडवांस में फर्जी मेडिकल लगाया है। जानकारों की मानें तो यह
शिक्षक छुट्टी लेकर बीएड-डीएड का कोर्स पूरा कर रहे हैं।
परीक्षा के मौसम में शिक्षकों की कमी से छात्रों का भविष्य अंधकारमय नजर आ रहा है। विभाग शिक्षकों की हरकतों पर अंकुश लगाने और बच्चों के भविष्य को लेकर चिंतित नजर नहीं आ रहा और शिक्षकों का वेतन प्रतिमाह जारी कर रहा है।
जानकारी के अनुसार बड़ेराजपुर ब्लाक अंतर्गत कई स्कूलों के शिक्षक फर्जी मेडिकल लगा कर महीनों से गायब हैं। इसके बाद भी इनका पूरा वेतन निकल रहा है। संकुल केंद्र कोरगांव के माध्यमिक शाला में एक प्रधान अध्यापक सहित चार शिक्षक पदस्थ हैं। इनमें से एक शिक्षिका लंबे समय से मेडिकल अवकाश लगा कर कोचिंग कर रही है। यही आलम प्राथमिक शाला का है। यहां भी एक शिक्षिका मेडिकल देकर कार्य से नदारद है। शिक्षक छुट्टी लेकर निजी कार्य में व्यस्त हैं, लेकिन हद तो तब हो गई जब ग्राम पंचायत कोरगांव के आश्रित ग्राम भर्रापारा के प्राथमिक शाला में पदस्थ शिक्षक ईश्वरचन्द साहू कांकेर में स्वयं का पैथालॉजी लैब संचालन कर रहे हैं। छुट्टी के जरिए निजी कार्य और व्यापार चलाना बिना स्थानीय अधिकारियों के सांठगांठ के संभव नहीं है, ऐसा पालकों का कहना है।
एडवांस में भी तबीयत खराब
क्षेत्र के जिन शिक्षक- शिक्षिकाओं कीतबीयत खराब है उनमें माध्यमिक शाला कोरगांव की निशा नेताम 25 जुलाई से 31 अक्टूबर 2016 तक बीमार थीं। कुछ दिन स्कूल आने के बाद 31 दिसंबर से अब तक बीमार हैं। यहां पदस्थ नूतनप्रीत कौर भी स्वयं को बीमार बता रही हैं। प्राथमिक शाला कोरगांव में पदस्थ सारली नेताम 28 दिसंबर से 27 जनवरी तक छुट्टी में रही। वे दोबारा 28 जनवरी से छुट्टी पर हैं। प्राथमिक शाला भर्रापारा में पदस्थ सहायक शिक्षक ईश्वरचंद साहू कांकेर में लैब का संचालन कर रहे हैं। उन्होंने छुट्टी के लिए अपनी मां का कैंसर से पीड़ित होना और उनकी सेवा के चलते कार्य पर उपस्थित न होने की अर्जी दी है। ईश्वरचंद सितंबर 2015 से मार्च 2016 तक और फिर सितंबर 2016 से अब तक गायब हैं। प्राथमिक शाला गम्हारी में पदस्थ शिक्षक मनीष समरथ का बिना किसी सूचना के स्कूल आना- जाना लगा रहता है। वे कुछ माह से कार्य पर उपस्थित नहीं हुए हैं। इसी लिस्ट में हाई स्कूल खजरावण्ड के पुनेश्वर सूर्यवंशी का नाम भी है। उन्होंने 11 नवंबर 2016 से 11 नवंबर 2017 तक बीमार रहने का आवेदन दिया है। माध्यमिक शाला बाड़ागांव के लोकेश मरकाम इस साल 20 जनवरी से छुट्टी पर हैं।
परीक्षा के मौसम में शिक्षकों की कमी से छात्रों का भविष्य अंधकारमय नजर आ रहा है। विभाग शिक्षकों की हरकतों पर अंकुश लगाने और बच्चों के भविष्य को लेकर चिंतित नजर नहीं आ रहा और शिक्षकों का वेतन प्रतिमाह जारी कर रहा है।
जानकारी के अनुसार बड़ेराजपुर ब्लाक अंतर्गत कई स्कूलों के शिक्षक फर्जी मेडिकल लगा कर महीनों से गायब हैं। इसके बाद भी इनका पूरा वेतन निकल रहा है। संकुल केंद्र कोरगांव के माध्यमिक शाला में एक प्रधान अध्यापक सहित चार शिक्षक पदस्थ हैं। इनमें से एक शिक्षिका लंबे समय से मेडिकल अवकाश लगा कर कोचिंग कर रही है। यही आलम प्राथमिक शाला का है। यहां भी एक शिक्षिका मेडिकल देकर कार्य से नदारद है। शिक्षक छुट्टी लेकर निजी कार्य में व्यस्त हैं, लेकिन हद तो तब हो गई जब ग्राम पंचायत कोरगांव के आश्रित ग्राम भर्रापारा के प्राथमिक शाला में पदस्थ शिक्षक ईश्वरचन्द साहू कांकेर में स्वयं का पैथालॉजी लैब संचालन कर रहे हैं। छुट्टी के जरिए निजी कार्य और व्यापार चलाना बिना स्थानीय अधिकारियों के सांठगांठ के संभव नहीं है, ऐसा पालकों का कहना है।
एडवांस में भी तबीयत खराब
क्षेत्र के जिन शिक्षक- शिक्षिकाओं कीतबीयत खराब है उनमें माध्यमिक शाला कोरगांव की निशा नेताम 25 जुलाई से 31 अक्टूबर 2016 तक बीमार थीं। कुछ दिन स्कूल आने के बाद 31 दिसंबर से अब तक बीमार हैं। यहां पदस्थ नूतनप्रीत कौर भी स्वयं को बीमार बता रही हैं। प्राथमिक शाला कोरगांव में पदस्थ सारली नेताम 28 दिसंबर से 27 जनवरी तक छुट्टी में रही। वे दोबारा 28 जनवरी से छुट्टी पर हैं। प्राथमिक शाला भर्रापारा में पदस्थ सहायक शिक्षक ईश्वरचंद साहू कांकेर में लैब का संचालन कर रहे हैं। उन्होंने छुट्टी के लिए अपनी मां का कैंसर से पीड़ित होना और उनकी सेवा के चलते कार्य पर उपस्थित न होने की अर्जी दी है। ईश्वरचंद सितंबर 2015 से मार्च 2016 तक और फिर सितंबर 2016 से अब तक गायब हैं। प्राथमिक शाला गम्हारी में पदस्थ शिक्षक मनीष समरथ का बिना किसी सूचना के स्कूल आना- जाना लगा रहता है। वे कुछ माह से कार्य पर उपस्थित नहीं हुए हैं। इसी लिस्ट में हाई स्कूल खजरावण्ड के पुनेश्वर सूर्यवंशी का नाम भी है। उन्होंने 11 नवंबर 2016 से 11 नवंबर 2017 तक बीमार रहने का आवेदन दिया है। माध्यमिक शाला बाड़ागांव के लोकेश मरकाम इस साल 20 जनवरी से छुट्टी पर हैं।